पायलट की उड़ान पर लगा 'ब्रेक' राहुल गांधी ने 3 फैसलों का हवाला दें गहलोत की पीठ थपथपाई

जयपुर : -  राजस्थान के मुख्ममंत्री अशोक गहलोत के कामकाज की राहुल गांधी ने तारीफ की है। राहुल गांधी ने गहलोत सरकार के कामकाज का हवाला देकर गुजरात में वोट मांगे है। राहुल गांधी ने गहलोत की पीठ थपथपाई है। राहुल गांधी ने गहलोत सरकार के 3 बड़े फैसलों का हवाला देकर तारीफ की है। राहुल गांधी ने आज ट्टीट कर लिखा- कांग्रेस का पक्का वादा। संविदा कर्मियों को पक्की नौकरी। पुरानी पेंशन व्यवस्था बहाल और समय पर प्रमोशन। राजस्थान में लागू किया, अब गुजरात में कांग्रेस की सरकार बनते ही कर्मचारियों को उनका हक मिलेगा। कांग्रेस देगी पक्की नौकरी। राजस्थान में सियासी खींचतान के बीच राहुल गांधी की तारीफ सीएम अशोक गहलोत के खासे मायने रखती है। जानकारों का कहना है कि सीएम गहलोत की कुर्सी पर पर आय़ा खतरा टल गया गया है। 

पायलट कैंप के नेता असहज

राहुल गांधी द्वारा गहलोत सरकार के कामकाज की तारीफ से पायलट कैंप असहज हो सकता है। पायलट कैंप के विधायक चुप्पी साधे हुए है। किसी तरह की प्रतिक्रिया नहीं दे रहे हैं। पायलट कैंप के विधायकों को उम्मीद है कि देर सवेरे सचिन पायलट को राजस्थान की कमान मिलेगी। लेकिन राहुल गांधी के ताजा बयान से साफ जाहिर हो गया है कि राजस्थान में नेतृत्व परिवर्तन नहीं होगा। सीएम गहलोत पर पद पर बने रहेंगे। सीएम गहलोत इन दिनों गुजरात में पार्टी के धुंआधार प्रचार कर रहे हैं। सीएम गहलोत ने अहमदाबाद में मीडिया से बात करते हुए कहा कि राजस्थान की योजनाओं को गुजरात में लागू किया जाएगा। कर्मचारियों की पुरानी पेंशन योजना बहाल होगी। निशुल्क दवा योजना शुरू की जाएगी। संविदा कर्मियों को नियमित किया जाएगा। सीएम गहलोत ने कहा कि कांग्रेस पार्टी के चुनाव घोषणा पत्र में इन सब बातों को शामिल किया जाएगा राहुल गांधी द्वारा गहलोत सरकार के कामकाज की तारीफ पर गहलोत समर्थक वरिष्ठ नेता बद्री जाखड़ ने स्वागत किया है।

गहलोत को मिल गया अभयदान 

बता दें 25 सितंबर को कांग्रेस विधायक दल की बैठक का बहिष्कार करने पर गहलोत समथर्क मंत्रियों को कारण बताओ नोटिस जारी किया था। माना जा रहा है था कि सीएम गहलोत की मुख्यमंत्री पद की कुर्सी खतरे में है, लेकिन राहुल गांधी ने जिस तरह से गहलोत सरकार के कामकाज की तारीफ की है, उससे संकेत मिल रहे हैं कि अशोक गहलोत को अभयदान मिल गया है। गहलोत समर्थक मंत्रियों ने कांग्रेस आलाकमान के भेजे गए गय पर्यवेक्षक अजय माकन और मल्लिकार्जुन खड़गे का बहिष्कार कर दिया था। चर्चा थी कि कांग्रेस विधायक दल की बैठक में सचिन पायलट को सीए बनाने की प्रस्ताव लेकर माकन और खड़गे आए थे।